बलूच लड़ाकों का पाक सेना पर बड़ा हमला, 90 सैनिकों के मारे जाने का दावा

नई दिल्ली: बलूचिस्तान में बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) ने एक बार फिर पाकिस्तानी सेना को निशाना बनाया है। इस हमले में 90 से अधिक पाकिस्तानी सैनिकों के मारे जाने का दावा किया गया है। यह हमला बलूचिस्तान के नोज़की इलाके में हुआ, जहां सुरक्षा बलों के काफिले को निशाना बनाया गया।
कैसे किया हमला
BLA ने नोज़की में पाकिस्तानी सेना के सात बसों और दो कारों वाले काफिले पर हमला किया। पाकिस्तानी अधिकारियों के अनुसार, इस हमले में 5 जवानों की मौत हुई और 13 जवान घायल हुए, लेकिन बीएलए का दावा है कि 90 सैनिक मारे गए।
हमले का तरीका
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एक बस को IED विस्फोटक के जरिये उड़ा दिया गया, जो संभवतः आत्मघाती हमला था।
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दूसरी बस को रॉकेट-प्रोपेल्ड ग्रेनेड से निशाना बनाया गया।
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कई घायलों की हालत गंभीर बताई जा रही है, जिससे मृतकों की संख्या बढ़ सकती है।
बलूचिस्तान में बढ़ती अशांति
बलूचिस्तान लंबे समय से पाकिस्तान सरकार के खिलाफ संघर्ष कर रहा है। BLA और BLF (बलूच लिबरेशन फ्रंट) ने मिलकर इस संघर्ष को तेज कर दिया है।
क्या है बीएलए का आधिकारिक बयान?
BLA ने इस हमले की जिम्मेदारी लेते हुए कहा कि मजीद ब्रिगेड ने आरसीडी हाईवे पर पाकिस्तानी सेना के काफिले को निशाना बनाया। काफिले में आठ बसें थीं, जिनमें से एक विस्फोट में पूरी तरह नष्ट हो गई।
BLA के द्वारा ट्रेन हाईजैक कांड
इससे पहले, बीएलए ने पाकिस्तानी सैनिकों से भरी ट्रेन को हाईजैक कर लिया था। संगठन ने दावा किया कि उन्होंने 214 पाकिस्तानी सैनिकों को मार दिया क्योंकि पाकिस्तान ने 48 घंटे के भीतर बातचीत करने से इनकार कर दिया था।
पाकिस्तानी सेना की प्रतिक्रिया
पाकिस्तानी सेना ने दावा किया कि उन्होंने आतंकवादियों के खिलाफ ऑपरेशन सफलतापूर्वक पूरा किया और 25-26 हमलावरों को मार गिराया। हालांकि, रक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि यह संघर्ष जल्द खत्म होने वाला नहीं है।
क्या बलूचिस्तान में अशांति बढ़ेगी?
इस हमले के बाद पाकिस्तान पर दबाव बढ़ सकता है। बलूच विद्रोही गुट चीन-पाकिस्तान इकोनॉमिक कॉरिडोर (CPEC) का विरोध कर रहे हैं और अमेरिका समेत अन्य बाहरी शक्तियों से उन्हें नैतिक समर्थन भी मिल रहा है।
यह घटना पाकिस्तान सरकार और सेना के लिए एक बड़ी असफलता साबित हो सकती है और आने वाले दिनों में बलूचिस्तान में संघर्ष और तेज हो सकता है।
बलूच लोग कौन हैं?

बलूच लोग एक एथनिक समूह (जातीय समुदाय) हैं, जो मुख्य रूप से पाकिस्तान, ईरान और अफगानिस्तान के बलूचिस्तान क्षेत्र में बसे हुए हैं। यह समुदाय अपनी अलग संस्कृति, भाषा और पहचान के लिए जाना जाता है।
बलूच लोगों का संक्षिप्त परिचय:
- भौगोलिक स्थिति:
- पाकिस्तान: बलूचिस्तान प्रांत
- ईरान: सिस्तान-बलूचिस्तान प्रांत
- अफगानिस्तान: दक्षिण-पश्चिमी क्षेत्र
- भाषा:
- बलूच लोग बलूची भाषा बोलते हैं, जो इंडो-ईरानी भाषा परिवार का हिस्सा है।
- संस्कृति और परंपरा:
- बलूच समुदाय घुमंतू (Nomadic) जीवनशैली और पारंपरिक रीति-रिवाजों का पालन करता है।
- इनकी संस्कृति में जनजातीय व्यवस्था (Tribal System) महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।
- पारंपरिक पोशाक में पुरुष लंबे कुर्ते और पगड़ी पहनते हैं, जबकि महिलाएं कढ़ाईदार कपड़े और गहने पहनती हैं।
बलूच लोगों का पाकिस्तान से संघर्ष:
- इतिहास: बलूचिस्तान 1947 में पाकिस्तान का हिस्सा बना, लेकिन बलूच अलगाववादी इसे जबरन कब्जा मानते हैं।
- बलूचिस्तान आंदोलन: कई बलूच विद्रोही संगठन, जैसे BLA (Baloch Liberation Army), पाकिस्तान सरकार के खिलाफ लड़ रहे हैं।
- कारण:
- संसाधनों का शोषण – बलूचिस्तान में गैस, खनिज और प्राकृतिक संसाधन प्रचुर मात्रा में हैं, लेकिन बलूच लोगों को इनका लाभ नहीं मिलता।
- आत्मनिर्णय की मांग – बलूच नेता स्वतंत्रता या अधिक स्वायत्तता की मांग कर रहे हैं।
- CPEC विरोध – चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारा (CPEC) परियोजना को बलूच लोग अपने संसाधनों पर कब्जा मानते हैं।
बलूच विद्रोही संगठनों की भूमिका:
- BLA (बलूच लिबरेशन आर्मी) – पाकिस्तान के खिलाफ सशस्त्र संघर्ष कर रहा है।
- BLF (बलूच लिबरेशन फ्रंट) – स्वतंत्रता के लिए लड़ रहा है।
- BRAS (बलूच राजी अजोई संगठ) – विद्रोही गुटों का गठबंधन।
बलूचिस्तान की मौजूदा स्थिति:
- पाकिस्तान बलूच विद्रोहियों के खिलाफ सैन्य अभियान चला रहा है।
- बलूच आंदोलन को अंतरराष्ट्रीय समर्थन मिलने की भी चर्चा होती रही है।
- बलूच लोगों की स्थिति अभी भी अशांत बनी हुई है।














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